सीआईपीईटी भोपाल की 18वीं क्षेत्रीय सलाहकार समिति बैठक संपन्न

एमएसएमई सेक्रेटरी के साथ आईपीपीएफ अध्यक्ष बंसल ने सीआईपीईटी का निरिक्षण किया
सेंट्रल इंस्टीट्यूट ऑफ पेट्रोकेमिकल्स इंजीनियरिंग एंड टेक्नोलॉजी (सीआईपीईटी) रसायन और पेट्रोकेमिकल्स विभाग, रसायन और उर्वरक मंत्रालय, सरकार के तहत प्रमुख संस्थान है। भारत सरकार पॉलिमर इंडस्ट्रीज को पॉलिमर इंजीनियरिंग और प्रौद्योगिकी के क्षेत्र में कौशल विकास, प्रौद्योगिकी सहायता, शैक्षणिक और अनुसंधान एवं विकास (स्टार) गतिविधियां प्रदान कर रही है।
सीआईपीईटी: सीएसटीएस, भोपाल की 18वीं क्षेत्रीय सलाहकार समिति (आरएसी) बैठक और सीआईपीईटी: सीएसटीएस, ग्वालियर की 5वीं क्षेत्रीय सलाहकार समिति (आरएसी) बैठक 4 अप्रैल 2024 को भोपाल आफिस में आयोजित की गई। बैठक की अध्यक्षता अध्यक्ष आरएसी सिपेट-सीएसटीएस भोपाल और ग्वालियर और सैक्रेटरी, एमएसएमई विभाग मप्र शासन डॉ. नवनीत मोहन कोठारी, (आईएएस) ने की। बैठक के पूर्व श्री कोठारी ने सीपेट भोपाल का निरिक्षण किया। उन्होनें वहां चलाए जा रहे ट्रेनिंग कोर्स और प्रशिक्षण उपकरणों का भी निरिक्षण किया। यहां स्वैच्छिक रक्तदान शिविर में रक्तदाताओं को प्रमाणपत्र भी वितरित किए।
सीआईपीईटी अपने प्रशिक्षण और तकनीकी सेवाओं के लिए एक आईएसओ- 9001 प्रमाणित संस्थान है और इसकी प्री और पोस्ट डिलीवरी निरीक्षण सेवाओं के लिए आईएसओ/आईईसी-17020 के अनुसार एनएबीसीबी द्वारा मान्यता प्राप्त है और इसकी परीक्षण प्रयोगशाला के लिए आईएसओ/आईईसी-17025 के अनुसार एनएबीएल द्वारा मान्यता प्राप्त है। वर्तमान में CIPET के देशभर में 46 केंद्र हैं। म.प्र. में राज्य सीआईपीईटी अपनी गतिविधियां तीन स्थानों से कर रहा है। इसमें भोपाल (वर्ष 1988-89 से ), ग्वालियर (वर्ष 2016-17 से ) और उप-केंद्र एपीपीएसईसी, एम. पी. प्लास्टिक पार्क, तमोट जिला रायसेन में (जनवरी 2019 से ) स्थापित है।
CIPET के एक सक्रिय RAC सदस्य और इंडियन प्लास्ट पैक फोरम के अध्यक्ष श्री सचिन बंसल ने बैठक में भाग लिया। उन्होनें इस दौरान कई विषयों पर बहुमूल्य सलाह और सुझाव प्रदान किए। डॉ. संदेश कुमार जैन, प्रधान निदेशक एवं प्रमुख, सीआईपीईटी: सीएसटीएस, भोपाल और ग्वालियर ने बैठक की प्रस्तावना रखी। अन्य सदस्यों ने भी अपने विचार रखें।

Comments

Popular posts from this blog

प्लास्टिविजन इंडिया 2023 के लिए इंदौर में रोड शो

इंडस्ट्रियल इंजीनियरिंग एक्सपो में 350 से अधिक कंपनीयां हुई शामिल

Seminar on Extended Producer Responsibility (EPR)